बता कर जाना

तुमने कहा था जब भी जाओ बता कर जाना, या मेरी हो जाना पूरी तरह या मुझे अलविदा कह कर जाना ... मैं कमज़ोर नहीं खुद को संभाल सकता हूँ बस कभी झूठ मत कहना मुझसे कि तुम्हें मुझसे प्यार है । अगर सचमुच है तो हौसला रखना निभाने का ... चाहो तो आजमा लेना मुझे, एक बार नहीं सौ बार ... हाँ किसी दिन अगर ये एहसास हो कि प्यार नहीं रहा तो भी साफगोई रखना इतनी कि मेरे मुँह पर कह देना ... एक बार गुज़र चुका हूँ उस टूटन से ... जो इस बार टूटा तो फिर कभी प्यार पर विश्वास न कर सकूँगा ।
      सब याद है मुझे तुम्हारा कहा और वो भी जो तुमने नहीं कहा ... हाँ तुमने ये तो कहा कि मैं तुम्हारी जान हूँ, जहां हूँ, तुम्हारी दुनिया, तुम्हारा सब कुछ हूँ पर ये कब कहा कि मेरे रहने से तुमने अपनी ओर आने वाले हर रास्ते, हर पगडंडी को बंद कर दिया ये जानते हुए भी कि मेरा सफ़र चाहे जितना लंबा हो तुम तक शायद नहीं पहुँच पाऊँगी न तुम्हें खुद तक आने की इजाज़त दे पाऊँगी । हाँ तुमने यही कहा था ..मुझे पूरी ज़िंदगी की फ़िक्र नहीं कुछ लम्हों का इश्क़ भी भारी है पूरी ज़िंदगी पर, यूँ भी कल किसने देखा है , क्या पता तुमसे पहले मैं ही चला जाऊं पर तब तक जी भर के जी तो लूँ। बस तुमने ये नहीं कहा कि तुम्हारे सारे सपने इन चंद लम्हों में सिमट कर रह जाएंगे, ऐसा नहीं कि तुमसे राब्ता नहीं मगर क्या करूँ कि मुझे खुद अपना ही पता नहीं ... तुम कितने भी खत लिखोगे मगर मेरा पता नहीं तो कहाँ भेजोगे उन्हें ?  
      हाँ तोड़ रही हूँ तुमसे किया वादा और जा रही हूँ बिना बताए, बिना अलविदा कहे ... देर सवेर तुम समझ पाओगे इसकी वजह पर आज कुछ नहीं कहने को सिवाय इसके ... " खुश रहो, आबाद रहो "

#सुन_रहे_हो_न_तुम

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